रेटिंगः ढाई स्टार
निर्माताः टीसीरीज और बीआर फिल्मस
निर्देशकः मुदस्सर अजीज
कलाकारः कार्तिक आर्यन, भूमि पेडनेकर, अपारशक्ति खुराना, अनन्या पांडे.
अवधिः दो घंटे आठ मिनट
1978 की बीआर चोपड़ा की सुपर हिट फिल्म ‘‘पति पत्नी और वह’’ की इस रीमेक फिल्म को फिल्मकार मुदस्सर अजीज ने समसामायिक बनाते हुए इसमें आदर्शवाद के साथ हास्य तड़का भी डाला है. मगर मुदस्सर अजीज अपनी पिछली फिल्म ‘‘हैप्पी भाग जाएगी’’ के के मुकाबले इस बार कुछ मात खा गए हैं.
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कहानीः
कहानी कानपुर में पले बढ़े और कानपुर के पीडब्लूडी में कार्यरत इंजीनियर अभिनव त्यागी उर्फ चिंटू त्यागी (कार्तिक आर्यन) की है. उनकी शादी वेदिका (भूमि पेडनेकर) के संग हुई है. वेदिका को कानपुर छोड़ दिल्ली में बसने की चाह है. शादी के कुछ अरसे तक तो सबकुछ बेहतर चलता है. वेदिका भी एक कालेज में पढ़ाने लगती है. चिंटू की जिंदगी भी रूटीन और बोरियत से गुजरने लगती है. पर तभी दिल्ली से कानपुर शहर में तपस्या सिंह (अनन्या पांडे) का आगमन होता है. वह कानपुर में एक भूखंड लेकर उस पर अपना ब्यूटिक का व्यापार शुरू करना चाहती हैं, इसी सिलसिले में तपस्या जब पीडब्लू डी आफिस पहुंचती है, तो तपस्या और चिंटू त्यागी की मुलाकात होती है. यहीं से चिंटू की जिंदगी बदल जाती है. चिंटू तपस्या की ओर आकर्षित हो जाता है. उन दोनों की नजदीकी का राजदार चिंटू का दोस्त फहीम रिजवी (अपारशक्ति खुराना) है. एक दिन तपस्या को पता चलता है कि चिंटू त्यागी शादीशुदा है, तो वह चिंटू से दूरी बनाने गलती है. ऐसे हालत में तपस्या का साथ पाने के लिए चिंटू त्यागी, तपस्या के सामने अपनी पत्नी वेदिका को चरित्रहीन बताता है. दोनो फिर से नजदीक आ जाते हैं. उधर फहीम अपनी तरफ से चिंटू को शादी और दुनियादारी की बातें समझाने की कोशिश करता है. चिंटू अपनी पत्नी वेदिका और वह तपस्या के बीच कोई संतुलन साध पाता, उससे पहले ही हालात बिगड जाते हैं. फिर कहानी में कई अजीबोगरीब मोड़ आते हैं.
निर्देशनः
पटकथा के स्तर पर कुछ कमियों के बावजूद फिल्म शुरू से अंत तक दर्शकों को हंसाने का प्रयास करती है. मगर कई जगह हास्य दृश्य जबरन खींचे हुए लगते हैं. कहानी धीरे धीरे विकसित होती है कानपुर शहर की पृष्ठभूमि और संवादो की भाषा और लहजा फिल्म को रोचक बनाते हैं. इसे एडीटिंग टेबल पर कसने की जरुरत थी. वेदिका आज की नारी है, जो कि पति के आगे दबकर जीने में यकीन नही रखती. पटकथा की कमजोरी के चलते चिंटू त्यागी की पूर्व प्रेमिका नेहा का बार बार जिक्र होता है, पर चिंटू त्यागी अभी भी नेहा से किस वजह से जुड़ाव महसूस करता है, इसका कहीं कोई जिक्र नही होता.
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अभिनयः
मूलतः कानपुर निवासी कार्तिक आर्यन ने कानपुर के युवक चिंटू त्यागी के किरदार में जान डाल दी है. चिंटू त्यागी के किरदार को कार्तिक आर्यन अपने हलके से हकलानेवाले अंदाज से मनोरंजक बनाते हैं. वेदिका के किरदार में भूमि पेडनेकर ने साबित कर दिखाया कि उनके अंदर विविधतापूर्ण किरदार निभाने की अद्भुत क्षमता है. वेदिका के किरदार में वह ग्लैमरस और घरेलू दोनों ही रूप में अच्छी लगी हैं. भूमि पेडनेकर की जितनी तारीफ की जाए, उतना कम है. तपस्या के किरदार में अनन्या पांडे ने शानदार अभिनय किया है. अनन्या पांडे के करियर की यह दूसरी फिल्म होने के बावजूद उनके अंदर जबरदस्त आत्मविश्वास नजर आता है. फहीम के किरदार में अपारशक्ति खुराना ने भी जानदार परफौर्मेंस दी है. नीरज सूद व नवनी परिहार ने ठीक ठाक अभिनय किया है.